मुड़पार के विद्यार्थियों से अनौपचारिक मुलाकात में शिक्षा मंत्री यादव ने दिया प्रेरणादायक संदेश

प्रदेश के शिक्षा, ग्रामोद्योग एवं विधि-विधायी मंत्री गजेन्द्र यादव ने आज अपने अछोटी प्रवास के दौरान मुड़पार गांव में विद्यालय जा रहे विद्यार्थियों से अनौपचारिक भेंट की। इस दौरान उन्होंने बच्चों से आत्मीय संवाद करते हुए उनके अध्ययन, शैक्षणिक अनुभवों और भविष्य की योजनाओं के बारे में विस्तार से चर्चा की। मंत्री यादव ने बच्चों की बातों को बड़े ध्यान से सुना और उन्हें जीवन में अनुशासन, मेहनत और लगन को अपनाने की प्रेरणा दी। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी जीवन में अनुशासन सफलता की पहली सीढ़ी है। जो छात्र अपने समय का सदुपयोग करते हैं, वही आगे चलकर समाज और देश की प्रगति में योगदान देते हैं।

शिक्षा से संवारें भविष्य, मेहनत और अनुशासन से पाएँ सफलता...
 शिक्षा  ग्रामोद्योग एवं विधि विधायी मंत्री श्री गजेन्द्र यादव

श्री यादव ने कहा कि शिक्षा केवल परीक्षा उत्तीर्ण करने का साधन नहीं, बल्कि यह चरित्र निर्माण, आत्मविश्वास और समाज सेवा की भावना का आधार है। उन्होंने विद्यार्थियों से आग्रह किया कि वे अपने शिक्षकों का सम्मान करें, नियमित अध्ययन करें और अपने सपनों को साकार करने के लिए समर्पण के साथ प्रयासरत रहें। इस अवसर पर मंत्री ने विद्यालयों की शिक्षकीय व्यवस्था, अध्ययन स्तर और विद्यार्थियों की प्रगति की जानकारी ली। उन्होंने शिक्षकों और अभिभावकों से कहा कि वे मिलकर बच्चों के सर्वांगीण विकास में सहयोग करें, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों के छात्र भी गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्राप्त कर सकें। मंत्री यादव ने मुड़पार के विद्यार्थियों में पढ़ाई के प्रति उत्साह, आत्मविश्वास और सकारात्मक सोच देखकर संतोष व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार का लक्ष्य है कि प्रत्येक बच्चे को समान और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का अवसर मिले। इसके लिए विद्यालयों की आधारभूत सुविधाओं, शिक्षकों की उपलब्धता और डिजिटल संसाधनों को सशक्त बनाने की दिशा में लगातार कार्य किया जा रहा है।

हर बच्चे के लिए समान शिक्षा, उज्ज्वल भविष्य की ओर...
 शिक्षा  ग्रामोद्योग एवं विधि विधायी मंत्री श्री गजेन्द्र यादव

अंत में उन्होंने विद्यार्थियों को उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि वे निडर होकर अपने सपनों का पीछा करें। उन्होंने कहा कि हर विद्यार्थी को जीवन में एक उद्देश्य तय कर उसे प्राप्त करने के लिए ईमानदारी से प्रयास करना चाहिए — यही सच्ची शिक्षा का सार है।

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